पंजाब में पैरों से कुचलकर बनाई जा रही थी गजक:न सफाई, न लाइसेंस, प्रशासन ने फैक्ट्री को किया सील

पंजाब में पैरों से कुचलकर बनाई जा रही थी गजक:न सफाई, न लाइसेंस, प्रशासन ने फैक्ट्री को किया सील

Bathinda Factory Gajak Made Crushing Feet पंजाब के बठिंडा में प्रशासन ने एक गजक फैक्ट्री को सील कर दिया है। फैक्ट्री बिना लाइसेंस के चल रही थी। इस फैक्ट्री में पैरों से कुचलकर गजक बनाई जा रही थी। वीडियो सामने आने के बाद प्रशासन हरकत में आया। मामला गोनियाना मंडी का है। जानकारी के मुताबिक […]

Bathinda Factory Gajak Made Crushing Feet

पंजाब के बठिंडा में प्रशासन ने एक गजक फैक्ट्री को सील कर दिया है। फैक्ट्री बिना लाइसेंस के चल रही थी। इस फैक्ट्री में पैरों से कुचलकर गजक बनाई जा रही थी। वीडियो सामने आने के बाद प्रशासन हरकत में आया।

मामला गोनियाना मंडी का है। जानकारी के मुताबिक एक समाजसेवी ने फैक्ट्री का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर शेयर किया था। वीडियो में फैक्ट्री में मशीनों की जगह हाथों से गजक बनाई जा रही थी और पैरों से कुचलकर मूंगफली छीली जा रही थी।

वीडियो सामने आने के बाद जिला हेल्थ अधिकारी ने कार्रवाई के आदेश दिए। इसके बाद हेल्थ इंस्पेक्टर नवदीप सिंह चहल के नेतृत्व में फैक्ट्री पर छापा मारा गया। मौके से साढ़े चार क्विंटल गजक बरामद हुई, जिसे सील कर सैंपल लिए गए।

हेल्थ अधिकारी नवदीप सिंह ने बताया कि फैक्ट्री बिना लाइसेंस चल रही थी।। गजक अनहाइजीनिक पाई गई। जिसके सैंपल लिए गए हैं। यहां साफ-सफाई का कोई उचित प्रबंध नहीं था। फैक्ट्री को सील कर दिया गया है। साथ ही वहां मिली गजक को भी सील कर दिया गया है। इसके अलावा फैक्ट्री मालिक विनोद कुमार का चालान काटा गया है और उसे बठिंडा एडीसी कार्यालय में पेश होने के निर्देश दिए गए हैं।

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डीएचओ अमृतपाल सिंह ने बताया कि फैक्ट्री सीज हो गई है। अब जांच पूरी करके मालिक विनोद कुमार के खिलाफ चालान काटकर बठिंडा एडीसी कार्यालय में पेश किया जाएगा। मामले की पूरी सुनवाई अब एडीसी कार्यालय द्वारा की जाएगी। इसमें दोषी पाए जाने पर 10 हजार से लेकर एक लाख रुपए तक जुर्माना का प्रावधान है।

डॉक्टर ने बताया कि गजक में यदि खराब क्वालिटी की चीनी, गुड़, तिल व अन्य केमिकल डाले जाते हैं तो इसका हेल्थ पर काफी प्रभाव पड़ता है। इससे पेट की बीमारियों के अलावा किडनी की समस्या भी हो सकती है। कई बार गजक में मिट्टी की मिलावट भी की जाती है। इस सूरत में गजक के छोटे टुकड़े को पानी में डालकर देख सकते हैं कि उसमें मिट्टी है या नहीं। मिट्टी होगी तो पानी में नीचे जम जाएगी। इसलिए गजक खरीदते समय ध्यान रखें कि वह अच्छी क्वालिटी की ही खरीदें।

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